ज़मीन से जुड़ी सोच और सच्ची खबरें
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असम
के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने मशहूर गायक जुबीन गर्ग की मौत को लेकर सनसनीखेज
बयान दिया है। उन्होंने सोमवार को दावा किया कि जुबीन की मौत किसी हादसे का नतीजा नहीं,
बल्कि एक सुनियोजित हत्या थी। सरमा ने बताया कि यह मामला शुरुआत से ही हत्या के रूप
में दर्ज किया गया था और जांच एजेंसियां उसी दिशा में काम कर रही हैं।
“यह कोई हादसा नहीं था” — CM हिमंत बिस्वा
सरमा
मुख्यमंत्री ने कहा, “आज मैं इसे दुर्घटना नहीं कह रहा हूं। राज्य का गृह मंत्री होने के नाते मुझे इस केस की पूरी जानकारी है। जो कुछ भी मैं कहता हूं, पूरे विश्वास के साथ कहता हूं।”
उन्होंने आगे बताया कि 8 दिसंबर तक आरोपपत्र दाखिल किया जाएगा और इसके लिए गृह मंत्रालय से अनुमति ली जा रही है। चूंकि घटना सिंगापुर में हुई थी, इसलिए भारतीय जांच एजेंसियों को वहां के नियमों के तहत औपचारिक अनुमति की आवश्यकता है।
सरमा ने बताया कि उन्होंने इस मामले की विस्तृत जानकारी गृह मंत्री अमित शाह को भी दी है। सीआईडी के विशेष डीजीपी एमपी गुप्ता की अध्यक्षता में गठित एसआईटी टीम अगले कुछ दिनों में मंत्रालय को अपनी रिपोर्ट सौंपेगी।
हत्या के सबूत मिलने के संकेत
जब सरमा से पूछा गया कि क्या जांचकर्ताओं को अब यह सबूत मिल गया है कि जुबीन की मौत तैराकी दुर्घटना नहीं थी, तो उन्होंने जवाब दिया, “यह मेरी ओर से कोई नया खुलासा नहीं है। न्यायिक हिरासत में मौजूद सभी आरोपियों पर पहले दिन से ही हत्या का आरोप लगाया गया है।”
यह बयान सिंगापुर पुलिस द्वारा पोस्टमार्टम और विष विज्ञान रिपोर्ट सौंपे जाने के बाद आया है। मुख्यमंत्री ने इन रिपोर्टों को “मौत के असली कारण का प्रामाणिक सबूत” बताया।
कांग्रेस नेता गौरव गोगोई ने उठाए सवाल
इस बयान के बाद राजनीति भी तेज हो गई है। कांग्रेस सांसद और असम कांग्रेस अध्यक्ष गौरव गोगोई ने सीएम सरमा से सवाल किया, “अगर यह हत्या थी, तो उन्होंने पहले जनता को यह स्पष्ट क्यों नहीं बताया? सरकार जांच को लेकर पारदर्शी क्यों नहीं है?”
गोगोई
ने कहा कि जब अभी चार्जशीट दाखिल भी नहीं हुई, तब मुख्यमंत्री को इस तरह के बयान देने
से बचना चाहिए।
जुबीन के करीबी का बयान — “सच सामने आना जरूरी
है”
जुबीन गर्ग के करीबी मित्र और गायक मानस रॉबिन ने कहा कि उन्हें विश्वास नहीं था कि असम का कोई व्यक्ति इस महान कलाकार को नुकसान पहुंचा सकता है। उन्होंने कहा, “अगर मुख्यमंत्री ने सार्वजनिक रूप से यह कहा है, तो इसमें जरूर सच्चाई होगी। हमें उम्मीद है कि दोषियों को कड़ी सज़ा मिलेगी।”
इस मामले में 7 संदिग्धों को न्यायिक हिरासत में भेजा गया है, जिनमें नॉर्थ ईस्ट इंडिया फेस्टिवल के आयोजक श्यामकानु महंत और जुबीन के मैनेजर सिद्धार्थ शर्मा शामिल हैं। इनमें से चार आरोपी जुबीन के साथ उस नौका पर मौजूद थे जो उन्हें लाज़रस द्वीप ले गई थी।
जांच जारी, असम में दर्ज हुईं 60 से ज़्यादा
FIR
जुबीन गर्ग की मौत के बाद असम भर में आक्रोश फैल गया था। अब तक इस मामले में 60 से ज़्यादा FIR दर्ज की जा चुकी हैं। सीआईडी की टीम लगातार साक्ष्य इकट्ठा कर रही है और जल्द ही आरोपियों के खिलाफ अदालत में आरोपपत्र दाखिल किया जाएगा। असम के संगीत जगत और आम जनता दोनों को अब इस बात का इंतज़ार है कि जुबीन गर्ग को आखिर न्याय कब मिलेगा।
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