पश्चिम बंगाल के दुर्गापुर में एक मेडिकल छात्रा के साथ हुए गैंगरेप की दर्दनाक घटना ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है। लेकिन इस मामले पर राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के एक बयान ने एक नया राजनीतिक तूफान खड़ा कर दिया है। अपने बयान में उन्होंने पीड़िता पर ही सवाल उठाते हुए कहा कि लड़की को देर रात बाहर नहीं निकलना चाहिए था, जिसके बाद उन पर 'पीड़ित को ही दोषी ठहराने' (victim shaming) के आरोप लग रहे हैं.क्या था ममता का विवादित बयान?एक कार्यक्रम के दौरान ममता बनर्जी ने कहा, "लड़की और उसका दोस्त रात 12:30 बजे कैंपस से बाहर क्यों गए? कॉलेज की भी जिम्मेदारी थी। मैं नहीं जानती कि उन्हें इतनी रात को बाहर जाने की इजाजत क्यों दी गई।" उन्होंने आगे कहा कि छात्राओं को अपनी सुरक्षा खुद भी करनी चाहिए और रात में बाहर नहीं निकलना चाहिए.।विपक्ष ने साधा निशानाममता बनर्जी के इस बयान के आते ही विपक्षी पार्टियों, खासकर BJP, ने उन्हें आड़े हाथों लिया। केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने कहा कि अगर यही बात किसी BJP के मुख्यमंत्री ने कही होती, तो तथाकथित लिबरल गैंग ने देश में हंगामा खड़ा कर दिया होता.। BJP ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री दोषियों को पकड़ने की बजाय पीड़िता पर ही सवाल उठा रही हैं।.बयान पर दी सफाई चारों तरफ से हो रही आलोचना के बाद ममता बनर्जी ने अपने बयान पर सफाई दी। उन्होंने कहा कि मीडिया ने उनके बयान को तोड़-मरोड़कर पेश किया है और उनकी बात का गलत मतलब निकाला गया। उन्होंने आश्वासन दिया कि इस मामले में किसी भी दोषी को बख्शा नहीं जाएगा और पुलिस सभी आरोपियों की तलाश कर रही है.। Comments (0) Post Comment
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