TikTok, WeChat और AliExpress पर डेटा चोरी का आरोप, EU में शिकायत दर्ज!

चीन की मशहूर ऐप्स एक बार फिर विवादों में हैं। ऑस्ट्रिया की एक प्राइवेसी संस्था ने यूरोपीय यूनियन (EU) में TikTok, WeChat और AliExpress जैसे तीन बड़े चीनी ऐप्स के खिलाफ शिकायत दर्ज करवाई है।


आरोप है कि ये ऐप्स यूजर्स का पर्सनल डेटा चुपचाप इकट्ठा कर रहे हैं और उन्हें चीन भेज रहे हैं।


डेटा नहीं एक्सेस कर सकते यूजर


नोयब (NOYB) नाम के इस एडवोकेसी ग्रुप का कहना है कि इन तीनों ऐप्स में यूजर्स को अपने खुद के डेटा को एक्सेस करने या डाउनलोड करने की सुविधा नहीं दी जा रही है।


जबकि यूरोपीय यूनियन के सख्त कानूनों के मुताबिक हर नागरिक को ये अधिकार है कि वो जान सके कि उसके बारे में कौन सा डेटा जमा किया गया है और क्यों।


नोयब का आरोप है कि इन ऐप्स ने जानबूझकर ऐसी कोई व्यवस्था नहीं की जिससे यूजर अपने डेटा को देख सके। ये यूरोपीय कानून (GDPR - General Data Protection Regulation) का खुला उल्लंघन है।


डेटा चीन ट्रांसफर करने का आरोप


शिकायत में ये भी दावा किया गया है कि ये ऐप्स जो भी यूजर डेटा इकट्ठा करते हैं, उसे सीधे चीन भेज देते हैं।


चीन में डेटा पर नियंत्रण सरकार के हाथ में होता है, जिससे यूजर्स की प्राइवेसी और भी खतरे में पड़ जाती है।


नोयब ने जिन छह कंपनियों के खिलाफ शिकायत की है, उनमें से तीन यही पॉपुलर ऐप्स हैं। ये कंपनियां EU के डेटा प्रोटेक्शन नियमों का पालन नहीं कर रही हैं।


पहले भी उठ चुकी है चिंता


डेटा चोरी और प्राइवेसी के उल्लंघन को लेकर चीन की कंपनियां पहले भी सवालों के घेरे में रही हैं।


अमेरिका, भारत और ऑस्ट्रेलिया जैसे देशों ने सुरक्षा कारणों का हवाला देते हुए कई चीनी ऐप्स पर पहले ही बैन लगा रखा है।


भारत में TikTok, WeChat और AliExpress जैसे ऐप्स 2020 में ही बैन हो गए थे, जब भारत-चीन बॉर्डर पर तनाव बढ़ा था।


उस समय भारत सरकार ने साफ कहा था कि ये ऐप्स देश की सुरक्षा और यूजर्स की निजता के लिए खतरा हैं।


अब क्या हो सकता है आगे?


अगर यूरोपीय यूनियन में की गई ये शिकायत सही साबित होती है, तो TikTok, AliExpress और WeChat जैसे ऐप्स पर यूरोप में भी बैन लग सकता है। GDPR कानून के तहत इन ऐप्स पर भारी जुर्माना भी लगाया जा सकता है।


नोयब जैसी संस्था का रिकॉर्ड देखा जाए, तो उसने पहले भी Apple, Google, Meta और Amazon जैसी दिग्गज कंपनियों पर प्राइवेसी को लेकर बड़ी कानूनी कार्रवाइयां की हैं। ऐसे में इस शिकायत को हल्के में नहीं लिया जा रहा।


यूजर्स के लिए क्या सबक है?


अगर आप किसी भी ऐप का इस्तेमाल कर रहे हैं, तो ये ज़रूरी है कि आप उसकी प्राइवेसी पॉलिसी पढ़ें और समझें कि वो आपका डेटा कैसे इस्तेमाल करती है।


खासकर वो ऐप्स जो आपके लोकेशन, फोटो, कॉन्टैक्ट्स या मैसेज तक की परमिशन मांगते हैं, उन पर ध्यान देना जरूरी है।


अगर कोई ऐप ये नहीं बताता कि आपका डेटा कहां जा रहा है, तो उससे दूरी बनाना ही बेहतर है।


आप क्या सोचते हैं इस खबर को लेकर, अपनी राय हमें नीचे कमेंट्स में जरूर बताएँ।

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