डिजिटल पेमेंट को और ज्यादा सुलभ, लचीला और सुरक्षित बनाने की दिशा में भारत सरकार ने एक और बड़ा कदम उठाया है।जी हाँ, दरअसल, अब 1 सितंबर 2025 से देशभर के UPI यूजर्स गोल्ड लोन, पर्सनल लोन, और बिजनेस लोन की राशि भी UPI के ज़रिए सीधे निकाल सकेंगे।ये बदलाव न सिर्फ बैंकिंग सिस्टम को ज्यादा सहज बनाएगा, बल्कि छोटे कारोबारियों और आम जनता को बड़ी राहत देगा, जिन्हें अब बार-बार बैंक के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे।अब लोन अकाउंट भी हो सकेंगे UPI से लिंकअभी तक UPI का इस्तेमाल केवल सेविंग्स अकाउंट, ओवरड्राफ्ट अकाउंट और कुछ चुनिंदा RuPay क्रेडिट कार्ड तक सीमित था, लेकिन अब नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) ने लोन अकाउंट्स को भी UPI से जोड़ने की मंजूरी दे दी है।इसका मतलब है कि अब गोल्ड लोन, पर्सनल लोन, बिजनेस लोन, और एफडी (फिक्स्ड डिपॉजिट) की राशि भी UPI ऐप्स (जैसे कि PhonePe, Paytm, Google Pay आदि) के माध्यम से ट्रांसफर की जा सकेगी।कैसे काम करेगा नया सिस्टम?नए नियमों के तहत, अब UPI में सिर्फ P2M (Person to Merchant) नहीं, बल्कि P2PM (Person to Pre-approved Merchant) और Peer to Peer (P2P) ट्रांजैक्शन भी किए जा सकेंगे।यानी, सीधे तौर पर अब ग्राहक अपनी लोन राशि को सीधे हॉस्पिटल बिल, स्कूल या कॉलेज की फीस, बिजनेस पेमेंट्स, या फिर दूसरे अधिकृत ट्रांजैक्शन में उपयोग कर सकेंगे।क्या है लिमिट और नियम?हालांकि, इस सुविधा का सही इस्तेमाल सुनिश्चित करने के लिए NPCI ने कुछ सीमाएं और शर्तें भी तय की हैं, जो कुछ इस तरह हैं:एक दिन में 1 लाख रुपये तक का कुल पेमेंट किया जा सकेगा।कैश निकालने की सीमा सिर्फ 10 हजार रुपये प्रतिदिन होगी।P2P ट्रांजैक्शन लिमिट - अधिकतम 20 ट्रांजैक्शन प्रतिदिन।इसके अलावा, बैंकों को अधिकार दिया गया है कि वो तय करें कि कौन-से ट्रांजैक्शन की परमिशन दी जाए। मसलन, लोन अमाउंट का इस्तेमाल केवल ज़रूरी चीजों (जैसे मेडिकल खर्च या एजुकेशन) में ही किया जा सकता है।छोटे कारोबारियों के लिए वरदान साबित हो सकता है ये बदलावगौर करने वाली बात ये है, कि ये बदलाव खासकर उन लोगों के लिए बेहद फायदेमंद होगा जो 2-3 लाख रुपये तक के छोटे बिजनेस लोन लेते हैं और जिन्हें पेमेंट करने के लिए बार-बार बैंक ब्रांच जाना पड़ता है।अब वो सीधे अपने फोन से ही UPI के ज़रिए पेमेंट कर सकेंगे। इससे न केवल समय की बचत होगी, बल्कि डिजिटल लेनदेन को भी और बढ़ावा मिलेगा।नकदी निकासी भी होगी आसानअब तक UPI के ज़रिए सीधे कैश निकालने की सुविधा नहीं थी। लेकिन नए नियमों के अनुसार, ग्राहक अपने लोन अकाउंट से ₹10,000 तक कैश निकाल सकते हैं, और वो भी बिना बैंक गए, सीधे UPI ऐप से।इससे गांव, कस्बों और छोटे शहरों में रहने वाले ग्राहकों को सीधा फायदा मिलेगा, जिन्हें अक्सर बैंकिंग सुविधाएं आसानी से नहीं मिल पाती हैं।क्या बोले सरकार और NPCI?NPCI के मुताबिक, इस बदलाव से फाइनेंशियल इनक्लूजन को बढ़ावा मिलेगा, पेमेंट सिस्टम और ज्यादा डायनेमिक और यूजर-फ्रेंडली बनेगा, और डिजिटल इकोनॉमी को नई रफ्तार भी मिलेगी।सरकार का मानना है कि डिजिटल पेमेंट इकोसिस्टम को और मजबूत करने की दिशा में ये एक ऐतिहासिक कदम है।क्या बदल जाएगा 1 सितंबर के बाद?1 सितंबर 2025 से UPI न केवल लेनदेन का जरिया रहेगा, बल्कि ये धीरे-धीरे एक फुल-सर्विस डिजिटल बैंकिंग प्लेटफॉर्म बनता चला जाएगा।अब लोन निकालना, ट्रांजैक्शन करना, लिमिट सेट करना और खर्च को मैनेज करना, सबकुछ आपके फोन से होगा, वो भी झंझट मुक्त तरीके से।आप क्या सोचते हैं इस खबर को लेकर, अपनी राय हमें नीचे कमेंट्स में जरूर बताएँ। Comments (0) Post Comment